गुजरात सरकार का बड़ा फैसला: अब हर सरकारी अस्पताल में होगी ठंडी हवा की व्यवस्था
गुजरात में भीषण गर्मी को देखते हुए स्वास्थ्य विभाग ने सभी सरकारी अस्पतालों में कूलर लगाने का आदेश जारी किया है, मरीजों को मिलेगी राहत।

गुजरात में बढ़ती गर्मी को देखते हुए सरकार का बड़ा फैसला – सभी सरकारी अस्पतालों में कूलर लगाने के आदेश
गांधीनगर।
गुजरात में गर्मी का कहर अपने चरम पर है। राज्य के कई जिलों में तापमान 45 डिग्री सेल्सियस के पार पहुँच चुका है। इस झुलसाती गर्मी से आम लोग ही नहीं, अस्पतालों में भर्ती मरीज भी बुरी तरह प्रभावित हो रहे हैं। मरीजों को राहत देने के लिए गुजरात सरकार ने एक अहम निर्णय लिया है। स्वास्थ्य विभाग ने राज्य भर के सभी सरकारी अस्पतालों में कूलर की व्यवस्था अनिवार्य कर दी है।
स्वास्थ्य विभाग का निर्देश जारी
गुजरात राज्य के स्वास्थ्य विभाग ने आदेश जारी कर सभी जिलों के मुख्य चिकित्सा अधिकारियों (CMO), सरकारी अस्पतालों, GMERS (गुजरात मेडिकल एजुकेशन एंड रिसर्च सोसाइटी) अस्पतालों, और जिला अस्पतालों को तुरंत प्रभाव से अस्पतालों में कूलर और पंखों की व्यवस्था करने का निर्देश दिया है। आदेश में स्पष्ट कहा गया है कि मरीजों को गर्मी से कोई तकलीफ न हो, इसका विशेष ध्यान रखा जाए।
किन वार्डों को मिलेगी प्राथमिकता?
स्वास्थ्य विभाग द्वारा जारी आदेश में यह भी कहा गया है कि अस्पतालों के आईसीयू, डिलीवरी वार्ड, बच्चों के वार्ड, और बुजुर्गों के लिए बनाए गए विशेष वार्डों में कूलर लगाने को प्राथमिकता दी जाए। गर्मी के मौसम में ये मरीज अधिक संवेदनशील होते हैं और यदि समय पर राहत न मिले तो उनकी स्थिति और खराब हो सकती है।
कूलर के साथ-साथ अन्य इंतजाम भी जरूरी
सरकार ने सिर्फ कूलर लगाने के ही निर्देश नहीं दिए, बल्कि अस्पतालों में ठंडे पेयजल, ओआरएस के पैकेट, बिजली की निर्बाध आपूर्ति, और छायादार प्रतीक्षा कक्ष की व्यवस्था पर भी जोर दिया है। गर्मी से प्रभावित मरीजों को तुरंत इलाज मिल सके और उन्हें आरामदायक माहौल मिल पाए – इसके लिए हर अस्पताल को विशेष योजना के तहत काम करना होगा।
गर्मी से बीमारियों में इज़ाफा
गुजरात के कई जिलों में लू, डिहाइड्रेशन, सिर दर्द, चक्कर आना और थकावट जैसी समस्याएं बढ़ गई हैं। डॉक्टरों का कहना है कि अधिक गर्मी में शरीर का तापमान असंतुलित हो जाता है जिससे मरीजों की हालत बिगड़ सकती है। ऐसे में अस्पतालों में ठंडी हवा और आरामदायक माहौल का होना जरूरी है।
मरीजों के लिए राहत की उम्मीद
इस फैसले से अस्पताल में भर्ती मरीजों और उनके परिजनों को बड़ी राहत मिलने की उम्मीद है। राज्य सरकार के इस कदम को स्वास्थ्य सेवाओं की दिशा में एक सकारात्मक प्रयास माना जा रहा है।
राज्य के स्वास्थ्य मंत्री ने इस संदर्भ में कहा,
"गर्मी के इस मौसम में हमें मरीजों की स्थिति को समझना होगा। अस्पतालों में कूलर और अन्य जरूरी संसाधनों की व्यवस्था करने का निर्देश इसलिए दिया गया है ताकि कोई भी मरीज गर्मी से परेशान न हो। हमारी प्राथमिकता मरीजों की सुविधा और सुरक्षित इलाज है।"
GMERS और अन्य अस्पतालों को विशेष निर्देश
GMERS मेडिकल कॉलेज अस्पतालों और अन्य शासकीय चिकित्सा संस्थानों को भी स्वास्थ्य विभाग की ओर से विशेष पत्र भेजा गया है। इन संस्थानों से कहा गया है कि वे न केवल कूलर लगाएं, बल्कि यह सुनिश्चित करें कि सभी मरीजों तक यह सुविधा पहुंच रही है।
आम जनता के लिए सुझाव
स्वास्थ्य विभाग ने जनता से अपील की है कि दोपहर 12 बजे से 3 बजे तक अत्यधिक गर्मी के समय घर से बाहर न निकलें। पर्याप्त पानी पिएं, हल्के और ढीले कपड़े पहनें तथा धूप में जाने से पहले सिर को ढकें। बच्चों, गर्भवती महिलाओं और बुजुर्गों का विशेष ध्यान रखें।